Holi 2023: 2023 में होलिका दहन कब है 6 मार्च को या 7 मार्च को ? इस बात को लेकर कंफ्यूजन है. इस संशय का कारण है दो दिन पूर्णिमा तिथि का पड़ना. 6 और 7 मार्च दोनों ही दिन पूर्णिमा तिथि पड़ने के कारण लोग इस बात को लेकर संशय में हैं कि होलिका दहन की सही तिथि क्या है और होली 2023 कब है ? यहां ज्योतिषाचार्य उत्तराखंड के विद्वत सभा के सांसकृतिक सचिव विजेंद्र प्रसाद ममगाईं का कहना है कि इस बार भी होलिका दहन 6 मार्च को प्रदोष ब्यापिनी पूर्णिमा में सांयकाल 6/29 से रात्रि 8 /49 तक रात्रि 12/45 से 2 बजकर 3 मिनट पुच्छ काल में शास्त्र सम्मत है दिन के बाद की भद्रा यदि रात्रि तक जाये रात्रि की भद्रा दिन रहे मुहुर्त कार इसे शुभ मानते हैं रक्षाबंधन पर्व ओर होलिका दहन में भद्रा विचारणीय है अति आवश्यकताओं में जैसे 7 ता मार्च प्रदोष ब्यापिनीपूर्णिमा नहीं है
होलिका दहन कैसे करे
इसलिए अति आवश्यकताओं में भद्रा काल की पहली की 5 घटी छोड़ कर होलिका दहन 6 मार्च को करना चाहिए रंग खेलने वाली होती (छरोली) ता 7 मार्च कही पंचाग के अनुसार खेली जानी चाहिए
7 मार्च को कदापि होलिका दहन करना बिल्कुल अनुचित है शास्त्र सम्मत नहीं है प्रदोष ब्यापिनी पूर्णिमा भी नहीं है
6 ता मार्च 2023 को प्रदोष ब्यापिनी पूर्णिमा में या भद्रा पुच्छ काल में होलिका दहन होने पर फिर तिसरे दिन यानि 8 मार्च को होली खेलना कदापि सही नहीं है
।शासन द्वारा 7 मार्च भी छुट्टी घोषित कर दी गयी है रंगों की होली 7 ता मार्च को खेलें खेलने वाली होली रंगपंचमी तक पहले खेली जाती थी इसलिए अब कोई संशय नहीं रहेगा है
6 ता मार्च को प्रदोष ब्यापिनी पूर्णिमा में होलिका दहन
7 मार्च को छरोली रंग बिरंगी रहेगी।