सनातन धर्म मंदिर मे कलश यात्रा के साथ प्रारम्भ हुई देवी भागवत कथा
आज कार्तिक नवरात्र की चतुर्थी से द्वादशी तक चल्ने वाली देवी भागवत मे प्रथम दिन प्रेम एवं बीना तनेजा के घर से निकलते हुए मुख्य मार्गो से बैंड बाज़ो के साथ सिर पर कलश लिए हुए पीत वास्त्रों मे महिलाये सनातन धर्म मंदिर कथा स्थल पर कलश स्थापन के बाद कथा प्रसंग मे प्रसिद्ध कथवाचक आचार्य शिव प्रसाद ममगाई जी ने कहा भगवती का चरित्र कभी भी श्रवन करना चाहिए अष्टमी चतुर्दशी द्वादशी व नवमी के दिन पूजन श्रवन का विशेष महत्व ह जिसके श्रवन मात्र से बासुदेव जी पर देवकी के अपनी इसत् देवी चंद्रभागा का पूजन करने पर प्रसन्न हुई जो जमवंत के साथ मणि लाने के लिए लड़ते रहें उस प्राम्बा का पूजन करने पर सीता जी ने राम जी को प्राप्त किया भगवान विष्णु ने मधु कैथव को मारने के लिए उसी शक्ति की उपासना की महिसासुर दानव द्वारा आये हुए संकट से सभी देवो ने महालक्ष्मी को प्रकट किया और महिसासुर के साथ दानवो का वध करते हुए स्वर्ग का राज्य प्राप्त किया ब्रह्मा विष्णु महेश श्रीज़न पालन संहार करने वाले है लेकिन उनको भी उस मैया का हि आवाहन करना पड़ता है विशेषकर देवी भगवत श्रवन करने से मृत वत्सा काक वंध्या के दोष व वंश वृद्धि के दोष समाप्त हो जाते हैं आज् विशेष रूप से बढ़ चढ़कर समस्त भक्तो ने कथा मे भाग लिए प्रेम तनेजा जी ने कहा यह कथा हर दिन दो बजे से छे बजे तक चलेगी आज विशेष रूप से प्रेम तनेजा बीना तनेजा देवांश तनेजा रविंद्र तोमर अध्यक्ष गौरव चड्डा नीलम चड्डा जटाशंकर तिवारी प्रभा जुयाल विराट चड्डा लता गुसाई हरीश गुसाई के के पाण्डेय गीता पाण्डेय प्रसन्ना लखेड़ा मीरा त्रिपाठी आर एस त्यागी एस के सिंह एस के मित्तल शमशेर दत्ता जे पी भट्ट अनिल पुरी अश्विनी मुंडेपी दीपा माता पूर्व पार्षद नीलू भट्ट के के त्यागी सुधाकर खनकरियल सुंदरी बडोला शांति रावत सविता मघु आचार्य महेश भट्ट आचार्य दिवाकर भट्ट आचार्य संदीप बहुगुणा आचार्य अंकित केमनी आचार्य अशोक शर्मा आचार्य अनिल चमोली आदि भक्त गण उपस्थित थे।।