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मन की प्रसन्नता से होती हैं सारी बाधाएं दूर आचार्य ममगांई

मन की प्रसन्नता से होती हैं सारी बाधाएं दूर आचार्य ममगांई

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कण्डवाल गांव बुढ़ना जखोली रूद्रप्रयाग में चल रही श्रीमद्भागवत महापुराण कथा का का भण्डारे के साथ समापन हुआ समाज सेवी पत्रकार देवेन्द्र नैथानी जी की पुण्य स्मृति उनकः परिवार के द्वारा आयोजन किया गया है वहीं आज समापन दिवस प्रसिद्ध कथावाचक ज्योतिष्पीठ व्यास पदाल॔कृत आचार्य शिवप्रसाद ममगांई जी ने कहा हमारे जीवन में प्रसन्नता जीव को भी ब्रह्म को भी अपना बनानें का एक मार्ग है आचार्य नेकहा कि
प्रसन्नता दुनिया का सर्वश्रेष्ठ रसायन है, जो इस रसायन का निरन्तर सेवन करता है वह अनेक बाधाओं/कठिनाइयों को सहज ही पार कर लेता है। *जैसे सूर्योदय के होते ही अंधेरा दूर हो जाता है वैसे ही मन की प्रसन्नता से सारी बाधाएं दूर हो जाती हैं। अतः जीवन में कभी प्रसन्नता का दामन छोड़ना नहीं है। वास्तव में प्रसन्नता है तो जीवन है, जीवन का उजाला है। जीवन में जब विपदाओं के तूफान उठें, मन घबराए, हौसला पस्त होने लगे, तो प्रसन्नता का संतुलन बनाने का अभ्यास करें। प्रसन्नता को अपने जीवन की संजीवनी समझें। परिस्थितियां हमारे बस में नहीं हैं लेकिन खुश रहना हमारे हाथ में है। प्रसन्नता कहीं बाजार में नहीं मिलती, प्रसन्न हुआ जा सकता है, प्रसन्नता चुनी जाती है। जैसे दुख/तकलीफ/पीड़ा अनुभव होती है, वैसे ही खुशियां दिखाई नहीं देतीं, केवल अनुभव/महसूस की जा सकती हैं। खुशियां हमारे आसपास बिखरीं हैं, बस उन्हें समेटने की जरूरत है।

: इस अवसर रूक्मणी नैथानी जितेंद्र नैथानी अनेन्द्र नैथानी प्रधान आरती नैथानी पार्वती नैथानी जखोली ब्लॉक प्रमुख प्रदीप थपलियाल भाजपा जिलाउपाध्यक्ष भुपेन्द्र भण्डारी भगवती सती आचार्य जनार्दन नैथानी आचार्य गिता राम नैथानी विनय नैथानी अनिल नैथानी सतीश नैथानी सुनील शुक्ला आचार्य सन्दीप बहुगुणा आचार्य सूरज पाठक आचार्य राम प्रसाद ममगांई आचार्य हिमांशु मैठानी आचार्य जितेंद्र ममगांई अनिल चमोली भानु प्रसाद नैथानी केदार दत्त डंगवाल देवेन्द्र प्रसाद सेमवाल विरेन्द्र बडोनी बुद्धि राम कौठारी प्रदीप गैरोला गणेश डंगवाल अखलेश लोकश रुद्राक्ष देवांशी शिवांशी सुरेन्द्र सेमवाल वीरेन्द्र सिंह नेगी गणेश डंगवाल रावल बसंत सिंह रावत सूरज नैथानी श्री कृष्ण नैथानी प्रेम प्रकाश नैथानी कुन्दन सिंह पंवार दौलत सिंह गहरवार राजेन्द्र कंडवाल भगवान सिंह राणा गोविन्द सिंह कैन्तुरा सुनील नौटियाल आदि भक्त गण भारी संख्या मे उपस्थित थे।।